नींबू के बढ़ते दाम से मन खट्टा
भोपाल। नींबू के दाम से शहरवासियों का मन खट्टा कर दिया है। करोंद, भदभदा मंडी सहित आधा दर्जन हाट बाजारों में हर साल इन दिनों 30 टन नींबू प्रदेश के रतलाम व देश के कर्नाटक, आंध्रप्रदेश और महाराष्ट्र से आता था। लेकिन इस बार बेमौसम बारिश से फसल अच्छी नहीं हुई। इस कारण सात टन नींबू ही बाजार में आ पा रहा है। इसमें 30 से 40 रुपये प्रतिकिलो बिकने वाला नींबू 150 से 180 रुपये प्रतिकिलो फुटकर में बिक रहा है। वहीं थो में 120 से 150 रुपये प्रतिकिलो मिल रहा है। वहीं, यदि किसी को चार से छह नींबू लेने हों तो 20 रुपये में छह छोटे नींबू और बड़े नींबू मिल रहे हैं। नींबू के दाम बढऩे से होटल व रेस्टोरेंट की थालियों में नींबू गायब हो गया है।
इन दिनों शहर में सिर्फ 20 से 25 फीसद नींबू की आवक हो रही है। जिससे लोगों को अधिक दाम में नींबू खरीदना पड़ रहा है। सब्जी के थोक व फुटकर विक्रेेताओं का कहना है कि फिल्हाल नींबू के दाम में कमी नहीं आएगी। सब्जी के थोक विक्रेता कल्याण संघ के अध्यक्ष मोहम्मद नसीम ने बताया कि मार्च, अप्रैल, मई, जून में नींबू की खपत दोगुनी हो जाती है। इस बार कमजोर फसल से आवक कम है। इससे नींबू महंगे हो गए हैँ। बाजार में छोटे नींबू आ रहे हैं।
गर्मियों मं नींबू पानी, गन्ने का रस में नींबू का इस्तेमाल किया जाता है। लोग गर्मी में नींबू पानी व गन्ने का रस का अधिक सेवन करते हैँ। सामान्य दिनों में 15 टन नींबू की खपत होती है, जो गर्मियों में 30 टन तक पहुंच जाती है। बिट्टन मार्केट हाट बाजार के अध्यक्ष हरिओम खटीक ने बताया कि गर्मी के कारण खेतों में लगी सब्जियों की फसल खराब हो रही है, इसलिए मंडी में दस से 15 फीसदी तक आवक कम हो गई है। इससे 30 से 40 रुपये प्रतिकिलो मिलने वाली गिलकी, भिंडी 50 से 60 रुपये प्रतिकिलो तक मिल रही है। बेंगन व लौकी 40 रुपये प्रतिकिलो तक फुटकर में मिल रही है। वहीं आलू व प्याज 15 से 20 रुपये प्रतिकिलो बिक रहा है।